टेक की बात
प्रश्न 1. तक पुराने ज़माने का सिक्का था| अगर आजकल सब चीज़े एक रूपया किलो मिलने लगें तो उससे किस तरह के फ़ायदे और नुकसान होंगे?
उत्तर- अगर आजकल सब चीजें एक रूपया किलो मिलने लगें, तो इससे सारी जनता को फ़ायदा होगा, क्योंकि उन्हें चीज़ें एक रूपया किलो में मिलने लगेंगी| लेकिन वहीँ दुकानदारों तथा विक्रेताओं को नुकसान होगा, क्योंकि उन्हें हर चीज एक रूपया किलो बेचनी पड़ेगी जिससे उन्हें कोई फ़ायदे नहीं होगा|
प्रश्न 2. भारत में कोई चीज़ खरीदने-बेचने के लिए ‘रूपये’ का इस्तेमाल होता है और बांग्लादेश में ‘टके’ का| ‘रूपया’ और ‘टका’ क्रमश: भारत और बांग्लादेश की मुद्राएँ हैं| नीचे लिखे देशों की मुद्राएँ कौन-सी हैं?
सऊदी अरब, जापान, फ्रांस, इटली, इंग्लैंड
उत्तर-
देश | सऊदी अरब | जापान | फ्रांस | इटली | इंग्लैंड |
मुद्राएँ | दीनार | येन | यूरो | यूरो | पौंड-स्टर्लिंग |
कविता की कहानी
प्रश्न 1. इस कविता की कहानी अपने शब्दों में लिखो|
उत्तर- यह कहानी अंधेर नगरी के गुरू और चेले से शुरू होती है| दोनों ने एक साथ ही आते हैं| लेकिन वहां पहुंचने पर उन्हें पता चलता है कि यह अंधेर नगरी है और यहां का राजा बिल्कुल मुर्ख है| यह सुनकर गुरु अपने चेले को उस नगरी से फ़ौरन वापस चलने को कहता है| लेकिन चेला वापस जाने से इंनकार कर देता है कारण नगरी में हर चीज एक टके की मिलती थी|
तब गुरु अकेला ही वहां से चला जाता है और चेला वही रह कर खाने-पीने का आनंद लेने लगा उस नगरी में खीरा, ककड़ी, रबड़ी, मलाई जैसी चीजें टका सेर मिलती थी| कुछ दिन बाद नगरी की एक दिवार गिर जाती है| तब राजा इसके दोषी को पकड़ने का हुक्म देता है| दोषी के रूप में सिपाही, कारीगर, भिश्ती, मशकवाले, मंत्री सबको पकड़ कर लाया जाता है| बाद में दोषी के रूप में मंत्री को फांसी देने का आदेश होता है| लेकिन उसकी मोटी गरदन नहीं थी इसलिए मंत्री को फांसी नहीं दी जाती और चेले को फांसी देने के लिए लाया जाता है| तब चेला आपने गुरु को याद करता है और गुरु जाकर अपनी चालाकी से चेले को फांसी से बचा लेता है साथ ही मुर्खता के कारण राजा स्वयं ही फाँसी पर चढ़ जाता है| मुर्ख राजा के मरने से सारी प्रजा खुश हो जाती है|
प्रश्न 2. क्या तुमने कोई और ऐसी कहानि या कविता पढ़ी है जिसमें सुझबुझ से बिगड़ा काम बना हो, उसे अपनी कक्षा में सुनाओ|
उत्तर- खरगोश और शेर
जंगल में शेर रहता था| वह मांस खाता था| उसने खरगोश को खाने के लिए अपने पास बुलाया| पहले तो खरगोश वहाँ जाने से डर रहा था| लेकिन फिर भी हिम्मत करके एक शेर के पास चला गया| जब शेर ने पूछा कि तुम देर से क्यों आए हो तो उसने कहा कि महाराज रास्ते में मुझे आपसे ही बड़ा शेर मिल गया था| उसी ने मुझे रोक लिया था| यह सुनकर शेर को बहुत गुस्सा आया| उसने खरगोश वह स्थान दिखाने को कहा, जहाँ उसे बड़ा से मिला था|
खरगोश उसे अपने साथ एक कुएं के पास ले गया और कुएं की तरफ इशारा किया| शेर ने जब कुए में नीचे की ओर देखा, तो उसे अपनी परछाई दिखाई दी| वह उसे दूसरा शेर समझने लगा और गुस्से में दहाड़ने लगा| उसकी आवाज कुएं में गूंज कर वापस आई, तो उसने सोचा ये तो दूसरा शेर दहाड़ रहा है| गुस्से में वह उस पर झपटा और नीचे कुएं में गिर गया| इस प्रकार खरगोश ने होशियारी से अपनी जान बचा ली|
प्रश्न 3. कविता को ध्यान से पढ़कर ‘अंधेर नगरी’ के बारे में कुछ वाक्य लिखो|(सड़कें, बाजार, राजा का राजकाज)
उत्तर- अंधेर नगरी के बारे में कुछ वाक्य-
(क) अंधेरी नगरी की सड़के चमकदार थी|
(ख) अंधेरी नगरी में सभी चीजें टके सेर भाव में मिलती थी|
(ग) अंधेरी नगरी में कोई नियम नहीं था|
(घ) अंधेर नगरी में किसी के दोष की सजा किसी को मिलती थी|
(ङ) अंधेरी नगरी में खूब बारिश होती थी और बिजली चमकती थी|
प्रश्न 4.क्या ऐसे देश को ‘अंधेरी नगरी’ कहना ठीक है? अपने उत्तर का कारण भी बताओ|
उत्तर- हां, ऐसे देश को ‘अंधेर नगरी’ करना ठीक है| क्योंकि यहां की शासन व्यवस्था और सजा देने का तरीका गलत था चारों और अज्ञानता का वातावरण था यहां का राजा महामूर्ख था|
कविता के बात
प्रश्न 1. “प्रजा खुश हुई जब मेरा मुर्ख राजा|”
(क) अंधेर नगरी की प्रजा राजा के मरने पर खुश क्यों हुई?
उत्तर- अंधेर नगरी की प्रजा राजा के मरने पर इसलिए खुश हुई, क्योंकि उस राजा की राज प्रणाली ठीक नहीं थी|
(ख) यदि वे राजा से परेशान थे तो उन्होंने उसे खुद क्यों नहीं हटाया? आपस में चर्चा करो|
उत्तर- प्रजा ने राजा को खुद इसलिए नहीं हटाया, क्योंकि उस समय राजा के महत्व सबसे अधिक था| राजा ही राज्य का मुखिया होता था तथा उसी का ही हुक्म चलता है|
प्रश्न 2. “गुरु का कथन झूट होता नहीं है|”
(1) गुरु जी ने क्या बात कही थी?
उत्तर- गुरुजी ने कहा था कि यह मुहूर्त फँसी पर चढ़ने के लिए शुभ है
(2) राजा यह बात सुनकर फाँसी लटक गया| तुम्हारे विचार से गुरुजी ने जो बात कही, वह सच थी|
उत्तर- राजा गुरूजी की बात सुनकर फाँसी पर लटक गया| लेकिन गुरूजी ने बात कही थी, वह सच नहीं थी|
(3) गुरुजी ने यह बात कहकर सही किया या गलत? आपस में चर्चा करो|
उत्तर- गुरूजी ने यह बात कहकर साही किया, क्योंकि इस झूट से उन्होंने अपने बेगुनाह चेले की जान बचाई थी|
अलग तरह से
• अगर कविता ऐसे शुरू हो तो आगे किस तरह बढ़ेगी?
थी बिजली और उसकी सहेली थी बदली
………………
………………
………………
उत्तर- थी बिजली और उसकी सहेली थी बदली,
बरसता था पानी चमकती थी बिजली
गरजते थे बादल दमकती थी बिजली,
थी बरसात गहरी, धमकती थी बिजली|
क्या होता यदि
प्रश्न 1. मंत्री की गर्दन फंदे के बराबर की होती?
उत्तर- तो मत्री को फाँसी पर चढ़ा दिया जाता|
प्रश्न 2. राजा गुरूजी की बातों में न आता?
उत्तर- राजा गुरूजी की बातों में न आता तो चेले को फाँसी पर चढ़ा दिया जाता|
प्रश्न 3. अगर संतरी कहता कि “दीवार इसलिए गिरी क्योंकि पोली थी” तो महाराज किस-किस को बुलाते? आगे क्या होता?
उत्तर- अगर संतरी कहता की दीवार इसलिए गिरी क्योंकि पोली थी, तो महाराज कारीगर, भिश्ती और मशकवाले को बुलाते| फिर शायद, वह इन सबको फाँसी की सजा देने की आज्ञा दे देते|
शब्दों की छानबीन
प्रश्न 1. नीचे लिखे वाक्य पढो| जिन शब्दों के नीचे रेखा खिंची है, उन्हें आजकल कैसे लिखते है, यह भी बताओ|
(क) न जाने की अंधेर हो कौन छान में!
(ख) गुरूजी ने खा तेज़ ग्वालिन न भग री!
(ग) इसी से गिरी , यह न मोती घनी थी!
(घ) ये गलती न मेरी , यह गलती बिरानी!
(ङ) न ईएसआई महूरत बनी बढ़िया जैसी
उत्तर-(क) छन – क्षण
(ख) भाग – भाग
(ग) घनी – गहरी
(घ) बिरानी – परायी
(ड) महूरत – मुहूर्त
प्रश्न 2. चमाचम थी सड़कें.. इस पंक्ति में ‘चमाचम’ सहबद आया है| नीचे लिखे शब्दों को पढ़ा और दिए गे वाक्यों में ये शब्द भरो-
पटापट चकाचक फ़टाफ़ट चटाचट झकाझक खटाखट चटपट
• आँधी के कारण पेड़ से …. फल गिर रहे हैं|
• हंसा अपना सारा काम …. कर लेती है|
• आज रहमान ने ……. सारे लड्डू खा डाले|
• उस भुक्खड़ ने …… सारे लड्डू खा डाले|
• सारे बर्तन धुलकर …… हो गए|
उत्तर- आँधी के कारण पेड़ से पटापट फल गिर रहे हैं|
• हंसा अपना सारा काम फटाफट कर लेती है|
• आज रहमान ने चकाचक सारे लड्डू खा डाले|
• उस भुक्खड़ ने चटपट सारे लड्डू खा डाले|
• सारे बर्तन धुलकर झकाझक हो गए|